हिमाचल से पठानकोट का संपर्क टूटा: चक्की पुल डैमेज, बंद किया गया, घग्गर को बांधने की कोशिश नाकामयाब, 7 गांवों के लोग मुसीबत में
पंजाब में बाढ़ के हालात काबू में नहीं आ रहे हैं। मालवा के बाद अब माझा भी बाढ़ की चपेट में है। पठानकोट का हिमाचल प्रदेश से जोड़ने वाला चक्की पुल कुछ समय के लिए बंद कर दिया गया है। दरअसल, पानी के बहाव के कारण इस पुल की नींव को नुकसान पहुंचा है। वहीं करतारपुर कॉरिडोर भी अगले 3 दिन के लिए बंद कर दिया गया है। अब श्रद्धालु अगले 3 दिन पाकिस्तान में श्री करतारपुर साहिब के दर्शनों के लिए नहीं जा सकेंगे।
वहीं दूसरी तरफ हरियाणा-पंजाब बॉर्डर पर बसा गांव भूंदड़ भी बाढ़ के हालातों से उभर नहीं पा रहा है। सरदूलगढ़ के तहत आने वाले गांव भूंदड़ में घग्गर पर आई दरार को भरने का काम चल रहा है, लेकिन रेत और मिट्टी की बोरियां टिक नहीं पा रही हैं। स्थानीय लोगों ने प्रशासन और सेवा कर रही संस्थाओं को उन्हें जाल उपलब्ध करवाने के लिए कहा है, ताकि बोरियों को एक दूसरे के साथ बांध कर घग्गर के जल बहाव को रोका जा सके।
मकौड़ा पत्तन अभी भी पंजाब से कटा
रावी दरिया का पानी अभी कंट्रोल में है और बहाव भी सामान्य है, लेकिन इसके बावजूद गांव मकौड़ा पत्तन व आस-पास के 7 गांव गुरदासपुर से कट चुके हैं। वहां अब न तो सड़क मार्ग और न ही पानी के माध्यम से कोई संपर्क हो पा रहा है। आर्मी की नाव गांवों में जाकर बुजुर्गों, बच्चों और बीमारों को निकाल रही है।
फौसा मंडी में लोग पानी से घिरे
सरदूलगढ़ के तहत आने वाली फौसा मंडी इस समय टापू बन चुकी है। यह गांव भी पूरी तरह चारों तरफ से पानी से घिर चुका है। किश्ती को आता देख लोग दूर से ही मदद की गुहार लगाते दिखते हैं। आर्मी और NDRF की तरफ से यहां से भी बच्चों व बुजुर्गों को निकाला जा रहा है।
3 दिन के लिए रोकी गई यात्रा
बीते दिन कैबिनेट मिनिस्टर कुलदीप धारीवाल भी गुरदासपुर के हालात देखने के लिए डेरा बाबा नानक पहुंचे थे। धारीवाल ने बताया कि फिलहाल यात्रा 3 दिन के लिए रोकी गई है। पाकिस्तान से जोड़ने के लिए जो सड़क बनाई गई है, वह पानी में डूब चुकी है। श्रद्धालुओं को कोई दिक्कत न हो, इसलिए यह फैसला लिया गया है। यह दूसरी बार है, जब श्री करतारपुर साहिब के लिए यात्रा को रोका गया है। इससे पहले कोरोना के समय लॉकडाउन के बाद इस यात्रा को रोका गया था।